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शुक्रवार, 28 जनवरी 2011

लघु कथा-समय नया -सोच वही



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                                           [फोटो बुक्केट से साभार ]
......शर्मा जी और सब तो ठीक है बस समीर चाहता है कि कनक बिटिया बाल नए फैशन के कटवा ले ......यू नो .....आजकल के लड़के कैसी पत्नी पसंद करते हैं !'' यह कहकर समीर के मामा जी ने फोन काट दिया .शर्मा जी असमंजस में पड़ गए ....आखिर ये कैसी डिमांड है ? शर्मा जी के पास बैठी उनकी पत्नी मिथिलेश बोली ''क्या कह रहे थे भाईसाहब ?' शर्मा जी मुस्कुराते हुए बोले ''मिथिलेश याद है तुम्हे शादी से पहले तुम किरण बेदी टाईप बाल रखती थी और मेरी जिद पर तुमने इन्हें बढा लिया था क्योंकि मै चाहता था कि तुममे लक्ष्मी जी का पूरा रूप दिखे पर .........आज देखो होने वाला दामाद चाहता है कि कनक अपने बाल कटकर छोटे करा ले .......कितने अजीब ख्यालात रखती है नयी पीड़ी !'' मिथिलेश व्यंग्य में मुस्कुराते हुए बोली ''नयी हो या पुरानी पीड़ी चलती तो पुरुष की ही है न !जाती हूँ कनक के पास ;उसे तैयार भी तो करना है बाल छोटे करवाने के लिए .''
                                                  शिखा  कौशिक  
                               [मेरी कहानियां ]

6 टिप्‍पणियां:

Shalini kaushik ने कहा…

bilkul sahi kaha hai -samay naya ho ya purana hamare samaj me chalti to purush ki hi hai .

Atul Shrivastava ने कहा…

अच्‍छी कहानी। पुरूष प्रधान समाज पर चोट करती, लेकिन अब जमाना बदल रहा है। महिलाओं को कहीं से कम नहीं आंका जा सकता।

palash ने कहा…

बहुत सटीक कहा ।
लेकिन हमें इसको बदलने की पहल करनी ही चाहिये

Dr. Yogendra Pal ने कहा…

ये कहानी मुझे बहुत अच्छी लगी,

वैसे एक बात और जग-जाहिर है शादी के बाद पति का मेकओवर पत्नी करती है :)

आप अच्छा लिखती हैं अपने ब्लॉग को अपना ब्लॉग" में सम्मिलित कीजिए|

Rajeysha ने कहा…

बि‍टि‍या को एक सच्‍चाई यह भी बतायें
http://rajey.blogspot.com/ पर

Vivek Mishrs ने कहा…

vah..vah
kya chot kiya hai aapne purush manasikata par